- सीयू में एनएसएस के 10 दिवसीय पूर्व गणतंत्र दिवस परेड कैंप (मध्य क्षेत्र) का समापन
बिलासपुर. गुरू घासीदास ( Guru Ghasidas Vishwavidyalaya, Bilaspur ) विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय सेवा योजना के दस दिवसीय पूर्व गणतंत्र दिवस परेड कैंप (मध्य क्षेत्र) का दिनांक 21 नवंबर, 2022 को विश्वविद्यालय के मानननीय कुलपति प्रोफेसर आलोक कुमार चक्रवाल (Vice Chancellor Professor Alok Kumar Chakrawal) की अध्यक्षता एवं अटल बिहारी वाजपेई विश्वविद्यालय बिलासपुर के कुलपति प्रोफेसर एडीएन वाजपेयी के मुख्य आतिथ्य में समापन हुआ। इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि स्वामी विवेकानंद तकनीकी विश्वविद्यालय भिलाई छत्तीसगढ़ के कुलपति प्रोफेसर एमके वर्मा रहे साथ ही मंचस्थ अतिथियों में एनएसएस के मप्र-छत्तीसगढ़ के क्षेत्रीय सह शिविर निदेशक ए.एस. कबीर, विश्वविद्यालय के कुलसचिव सूरज कुमार मेहर एवं विश्वविद्यालय एनएसएस के समन्वयक डॉ. दिलीप झा उपस्थित रहे।
इस प्री-आरडीसी कैंप का आयोजन गुरु घासीदास विश्वविद्यालय, बिलासपुर तथा राष्ट्रीय सेवा योजना क्षेत्रीय निदेशालय, भोपाल के संयुक्त तत्वावधान में दिनांक 12 से 21 नवंबर, 2022 तक हुआ। दस दिवसीय शिविर के समापन पर मुख्य संरक्षक एवं अध्यक्षता कर रहे विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर आलोक कुमार चक्रवाल (Vice Chancellor Professor Alok Kumar Chakrawal) ने कहा कि राष्ट्रीय सेवा योजना जितना बड़ा एवं अनुशासित युवा स्वयंसेवकों का संगठन विश्व में किसी अन्य देश में मिलना नामुमकिन है। कुलपति प्रोफेसर आलोक कुमार चक्रवाल (Professor Alok Kumar Chakrawal Vice Chancellor of Guru Ghasidas Vishwavidyalaya -Central University ) ने कहा राष्ट्रीय सेवा योजना के केन्द्र में अनुशासन और समर्पण की भावना समाहित है जिससे युवाओं को जीवन में आदर्श मानक स्थापित करने का अवसर मिलता है। इस दस दिवसीय शिविर के कार्यक्रम ने छह प्रदेशों के दौ सौ युवाओं को समय की पाबंदी, नियम एवं अनुशासन का पालन, टीम भावना और संगठनात्मक क्षमता के गुर सिखाए हैं।
प्रोफेसर चक्रवाल ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में राष्ट्रीय सेवा योजना के स्वयंसेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका है। व्यक्ति पूर्ण क्षमता के साथ कार्य करे तो सफलता निश्चित है। अपनी क्षमता पहचान कर आप बड़े से बड़ा कार्य का संपादन कर सकते हैं। एनएसएस के स्वयंसेवकों से कहा कि वे गुरु घासीदास विश्वविद्यालय द्वारा संचालित स्वावलंबी छत्तीसगढ़ी योजना से जुडे़ं तथा पोर्टल पर स्वयं को पंजीकृत कर उद्यमिता एवं कौशल विकास करते हुए भविष्य में नौकरी लेने वाले नहीं बल्कि देने वाले बनें। ।
समापन सत्र के मुख्य अतिथि अटल बिहारी वाजपेई विश्वविद्यालय बिलासपुर के कुलपति प्रोफेसर एडीएन वाजपेयी ने कहा कि हर व्यक्ति में कोई न कोई योग्यता होती है, हमें उसे पहचानने और परिष्कृत करने की आवश्यकता है। जीवन में चुनौतियां और व्यवधान तो आते रहते हैं ऐसे में लक्ष्य निर्धारित कर उस दिशा में आगे बढ़ते रहने से सफलता मिलेगी। इस शिविर के माध्यम से आपने जीवन को आदर्श रूप में परिवर्तित करें। इस अवसर पर उन्होंने युवाओं को प्रेरक गीत ‘कंटक पथ पर चलते-चलते’ की पक्तियां भी सुनाईं।
विशिष्ट अतिथि CSVTU bhilai के VC प्रोफेसर एमके वर्मा ने कछुआ और खरगोश की कहानी के माध्यम से एनएसएस के स्वयं सेवकों को प्रेरित किया। उन्होंने कहा है कि स्लो एंड स्टडी प्रोसेस से कोई भी सफलता प्राप्त की जा सकती है। जब आप में क्षमता हो तो आराम ना करें उससे लक्ष्य हासिल करें। एक दूसरे के सहयोग से कठिन से कठिन कार्य भी सफलता पूरा किया जा सकता है।
समापन कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती, बाबा गुरु घासीदास की प्रतिमा एवं विवेकानंद जी के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्वलन के साथ किया गया। तत्पश्चात कुलगीत एवं राष्ट्रीय सेवा योजना के लक्ष्य गीत गाए गए। सम्माननीय अतिथियों का स्वागत शाल श्रीफल एवं नन्हा पौधा भेंट कर किया गया। विश्वविद्यालय के शिविर समन्वयक डॉ दिलीप झा ने स्वागत उद्बोधन दिया।
राष्ट्रीय सेवा योजना (मध्य क्षेत्र) भोपाल एवं शिविर के निदेशक ए एस कबीर ने शिविर के सफल आयोजन के लिए विश्वविद्यालय परिवार की सराहना की। उन्होंने 10 दिवसीय शिविर का प्रतिवेदन प्रस्तुत करते हुए कहा कि सभी का सहयोग अद्भुत रहा। विभिन्न राज्यों से आए एनएसएस के प्रोग्राम अधिकारियों ने भी अपने अनुभव साझा किए। बिहार से डॉ अनुराधा पाठक, यूपी से डॉ नीरज कुमार, पवन पांडे, संध्या दुबे आदि ने शिविर को अद्भुत व अकल्पनीय बताया।
समापन समारोह में एनएसएस के सभी स्वयंसेवकों को मुख्य अतिथि सहित अन्य अतिथियों द्वारा प्रमाण पत्र प्रदान किए गए। विदित हो कि एनएसएस के 10 दिवसीय पूर्व गणतंत्र दिवस परेड शिविर में 6 राज्यों के 147 विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय के 200 एनएसएस स्वयंसेवकों ने भाग लिया जिसमें नई दिल्ली से आई पर्यवेक्षकों की टीम ने 40 छात्र-छात्राओं का चयन किया।
अंत में धन्यवाद ज्ञापन विश्वविद्यालय के कार्यवाहक कुलसचिव सूरज कुमार मेहर ने एवं संचालन प्रिंसी मतलानी, सहायक प्राध्यापक कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग विभाग ने किया। इस अवसर पर पीआईबी के अधिकारीगण, अन्य विश्वविद्यालयों के एनएसएस पदाधिकारी, विश्वविद्यालय की विभिन्न विद्यापीठों के अधिष्ठातागण, विभागाध्यक्षगण, अधिकारीगण, शिक्षणकगण एवं बड़ी संख्या में विद्यार्थी उपस्थित थे। (Guru Ghasidas Vishwavidyalaya, is a Central University of India, located in Bilaspur C.G. State, established under Central Universities Act 2009, No. 25 of 2009. Formerly called Guru Ghasidas University (GGU), established by an Act of the State Legislative Assembly, was formally inaugurated on June 16, 1983.)