लखनऊ, 19 जुलाई . campussamachar.com, जो जज्बा आपके पास है, आप के अन्दर जो दृढ़ इच्छा शक्ति है आप लोग किसी भी तरह कमजोर नहीं हैं, इतनी दूर-दूर से आप लोग आये हैं, इसी जज्बे और मेहनत से संगठन को ताकत देकर आने वाले 2027 के चुनाव में कांग्रेस की सरकार प्रदेश में बनानी है। आप निश्चित मान लीजिए उ0प्र0 में अगली सरकार कांग्रेस की बनेगी।
उक्त उद्गार उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष पूर्व मंत्री अजय राय ने आज प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय पर उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी निशक्तजन (विकलांग) प्रकोष्ठ के पदाधिकारियों एवं जिला/शहर चेयरमैनगणों की एक महत्वपूर्ण बैठक में व्यक्त किया। बैठक की अध्यक्षता प्रकोष्ठ के चेयरमैन मनीष प्रसाद श्रीवास्तव तथा संचालन प्रकोष्ठ के उपाध्यक्ष जितेन्द्र कुमार वर्मा ने की। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय ने प्रदेश के कोने-कोने से आये निशक्तजन (विकलांग) प्रकोष्ठ के पदाधिकारियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि जनता आज कांग्रेस की ओर देख रही है, जनता का समर्थन पूरी तरह मिल रहा है। राहुल जी के नेतृत्व में कांग्रेस हर वर्ग के लिए संघर्ष कर रही है। उन्होंने कहा कि वह आज सुबह अयोध्या गए वहां एक पुराने मामले में जिलाध्यक्ष को पुलिस प्रशासन द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया था। मैं जेल पहुंचकर उनसे मिला तो जिलाध्यक्ष ने कहा कि आपके आने से जो बल मुझे मिला है आम जनता की सेवा के लिए चाहे मुझे साल भर भी जेल में रहना पड़े तो मैं खुशी से रहा लूंगा।
बैठक के दौरान दिव्यांगजनों की समस्याओं को लेकर प्रकोष्ठ के चेयरमैन मनीष प्रसाद श्रीवास्तव ने बताया कि भाजपा की केंद्र और प्रदेश सरकार ने जो वादे किये थे आज भी वह जस के तस हैं। उन्होंने दिव्यांगजनों की समस्याओं से सम्बन्धित ज्ञापन प्रदेश अध्यक्ष अजय राय जी को सौंपा और उन समस्याओं को दूर कराने का आग्रह किया। पत्र में मांग की है कि-
1. उत्तर प्रदेश में विकलांगों की संख्या 2011 की जनगणना के अनुसार 7800000 (अठहत्तर लाख) थी जब विकलांगता की श्रेणी में केवल तीन प्रकार के विकलांग आते थे ( हाथ पैर से, आँख से, मुंह और कान से) उस समय विकलांग साथियों को 3 प्रतिशत का आरक्षण नौकरियों में दिया जाता था। भाजपा की सरकार बनने के बाद 21 प्रकार की बीमारियों को विकलांगता की श्रेणी में जोड दिया गया परन्तु विकलांग आरक्षण को केवल 1 प्रतिशत ही बढ़ाया गया।
2. विकलांग अधिनियम 2016 को पूर्ण तरीके से लागू करना चाहिए और अधिनियम की 89, 90, 91, 92 धारा के अन्तर्गत प्रत्येक थाना/सरकारी कार्यालयों पर बोर्ड लगाये जाये।
3. लगातार महगांई बढ़ती जा रही है, महगांई को देखते हुए 5000/-प्रतिमाह विकलांग पेंशन होनी चाहिए।
4. विकलांगों को नगर निगम/प्राधिकरण द्वारा प्रत्येक जिले के चौराहों पर विकलांगों को व्यवसाय के लिए जगह सुनिश्चित कराया जाये।
5. विकलांगों के बी0पी0एल0/आयुष्मान कार्ड बनने चाहिए।
6. विकलांग खिलाड़ियो को सामान्य खिलाड़ियों की भांति सहयोग दिया जाये।
7. बैकलॉग भर्तियों के जरिए विकलांगों को नौकरी दी जाये।
8. सरकार विकलांग जनों को आरक्षण की व्यवस्था के तहत राजनीतिक चुनावों में हिस्सेदारी प्रदान करे।
बैठक में प्रकोष्ठ के उपाध्यक्ष जितेन्द्र कुमार वर्मा, अकरम अली, महासचिव तनमय श्रीवास्तव, सचिव सुरेश ब्यौना, अरुण तिवारी, मण्डल प्रभारी अखिल गुप्ता, राजेश वर्मा, जिलाध्यक्ष राजीव मिश्रा, वीर बहादुर, राकेश तिवारी, मोहम्मद वसीम, मनोज श्रीवास्तव, राज कुमार राजभर सहित प्रकोष्ठ के सभी प्रदेश पदाधिकारी एवं जिला-शहर अध्यक्ष गण मौजूद रहे।