- उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ पांडे गुट ने कड़ा एतराज जताया है ।
लखनऊ , 1 जून । प्रदेश के शिक्षा विभाग द्वारा अभिभावकों, शिक्षक संगठनों को विश्वास में लिए बगैर और उनसे विचार-विमर्श किए बिना आए दिन शैक्षिक पाठ्यक्रम एवं परीक्षा का मूल्यांकन पद्धति में बदलाव एवं प्रयोग किया जा रहा है। शिक्षा विभाग की इन गतिविधियों पर उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ पांडे गुट (uttar pradesh maadhyamik shikshak sangh) ने कड़ा एतराज जताया है । संघ के वरिष्ठ शिक्षक नेता ओम प्रकाश त्रिपाठी ने इस अहम मुद्दे की ओर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ( UP CM Yogi Adityanath) एवं शिक्षा मंत्री गुलाब देवी का ध्यान व्यक्तिगत रूप से आकृष्ट करते हुए उनसे तत्काल हस्तक्षेप किए जाने की मांग की है।
UP education news : वरिष्ठ शिक्षक नेता त्रिपाठी ने बताया कि इसके पूर्व में भी शिक्षा जगत में कई बदलाव हुए हैं, जो विषय समितियों पाठ्यचर्या समितियों द्वारा चर्चा व बैठक के बाद रूपरेखा निर्धारित हो जाया करती थी लेकिन अब स्थिति यह है कि अब पाठ्यक्रम विषय समितियां भी विधिक रुप से कालातीत हो चुकी हैं। पिछले 8 वर्षों से परिषद तक का भी पुनर्गठन नहीं हो सका है। पूर्व में विशेष समितियों के सदस्यों को अब नहीं बुलाया जाता है और अब वही कार्य विषय विशेषज्ञों का नाम देकर बुला कर संपादित कराया जाता है।
lucknow education news : शिक्षक नेता त्रिपाठी ने #परिषद (Madhyamik Shiksha Parishad, Prayagraj Uttar Pradesh ) एवं उससे जुड़ी सभी समितियों के पुनर्गठन किए जाने की ओर उच्चाधिकारियों का ध्यान आकृष्ट किया है। शिक्षक नेता त्रिपाठी ने शिक्षा विभाग और माध्यमिक शिक्षा परिषद द्वारा किए जा रहे अनेकानेक बदलाव तभी कारगर होंगे जब वास्तविक रूप से अमली जामा पहनाया जा सके। इसलिए जरूरी है कि शिक्षा विभाग के शिक्षक समुदाय को बदलाव की विधिवत जानकारी नहीं देने के लिए व्यापक स्तर पर अभियान चलाकर कार्यशालाओं को ब्लॉक स्तर पर आयोजित किए जाने की महती आवश्यकता है । साथ ही बदलावों से संबंधित पाठ्य पुस्तकें सामग्री समय के अंदर उपलब्ध कराए जाने कि जरूरत है।