दिनांक – 21 मार्च 2024
⛅दिन – गुरुवार
⛅विक्रम संवत् – 2080
⛅अयन – उत्तरायण
⛅ऋतु – वसंत
⛅मास – फाल्गुन
⛅पक्ष – शुक्ल
⛅तिथि – द्वादशी 22 मार्च प्रातः 04:44 तक तत्पश्चात त्रयोदशी
⛅नक्षत्र – अश्लेषा मध्य रात्रि 01:27 तक तत्पश्चात मघा
चेत सबेरा बाबरे, फिर पाछै पछताये ।
तुझको जाना दूर है, कहे कबीर जगाये ।।
✍ जीवन के जो पल बीतते जाते हैं, वह हमारी निर्धारित आयु से घटते जाते हैं ।
✍ इसलिए जीवन के प्रत्येक पल का सदुपयोग होना चाहिए ।
✍ व्यर्थ की बातों में, दूसरे की बुराइयों में, अपने बहुमूल्य जीवन को नष्ट नहीं करना चाहिए ।
✍ प्रातःकाल उठते ही अपने लिए श्रेष्ठ लक्ष्य तय कर लेने चाहिए ।
✍ सर्वकालिक लक्ष्य तो उस आनंद की प्राप्ति होना चाहिये जो ईश्वर (सर्वश्रेष्ठ) जैसा बनने पर सम्भव है ।