भोपाल ,17 मई। campussamachar.com, संयुक्त संचालक लोक शिक्षण भोपाल द्वारा 151 अशासकीय हाई और हायर सेकंडरी स्कूल सहित 600 प्राथमिक एवं माध्यमिक अशासकीय शालाओं तथा मदरसों को कारण बताओ सूचना पत्र जारी कर यू-डाईस विद्यार्थीवार एन्ट्री का कार्य पूर्ण न किये जाने पर मान्यता समाप्त किए जाने तथा संबंधित प्रशिक्षकों को दो-दो वेतनवृद्धि रोकने की चेतावनी दी है । उल्लेखनीय है कि यूनिफाइड डाइस भारत सरकार का महत्वपूर्ण डेटा संकलन प्रपत्र है जिसकी शिक्षा की योजना बनाने एवं क्रियान्वयन में महत्वपूर्ण भूमिका है।
campus news : जिला परियोजना समन्वयक ने बताया कि सभी अशासकीय शालाओ, मदरसों को ऑनलाइन यूडाइस पोर्टल पर सत्र 2022-23 में विद्यार्थीवार एन्ट्री का कार्य करना अनिवार्य है, किन्तु कई बार लिखित व मौखिक रूप से अशासकीय शालाओं, मदरसों के संचालकों को विद्यार्थीवार एन्ट्री का कार्य पूर्ण कराने के निर्देश दिये जाने के उपरांत भी उनके द्वारा कार्य को गम्भीरता से नहीं लिया गया । इन अशासकीय शालाओं, मदरसों द्वारा उपरोक्त कार्य को समय-सीमा में पूर्ण न किये जाने से राज्य शिक्षा केन्द्र द्वारा जारी ग्रेडिंग में भोपाल जिला पिछड़ा है ।
MP education news : जिला परियोजना समन्वयक शिक्षा केन्द्र भोपाल ने बताया कि संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण भोपाल संभाग भोपाल द्वारा 151 अशासकीय हाईस्कूल, हायर सेकेण्ड्री शालाओं जिसमें कई सी.बी.एस.सी. स्कूल यथा सागर पब्लिक स्कूल, सेंट जोसेफ को-एड, कम्फट स्कूल, सिद्धार्थ स्कूल, असनानी स्कूल, महर्षि विद्या मंदिर, ज्ञानगंगा, मदर टेरेसा, संस्कार वेली, देल्ही पब्लिक स्कूल, कोंपल हायरसेकेण्ड्री स्कूल, क्वीन मेरी, केंपीयन स्कूल के अतिरिक्त अन्य कईं स्कूल शामिल हैं । इसी तरह जिला परियोजना समन्वयक, भोपाल द्वारा 600 प्राथमिक एवं माध्यमिक अशासकीय शालाओं, मदरसों के संचालकों, प्राचार्यों को कारण बताओं नोटिस जारी करते हुए दो दिवस में कार्य पूर्ण कराने के निर्देश दिये गये है ।
Bhopal education news : उक्त कारण बताओं सूचना पत्र में यह भी उल्लेख है कि यदि उक्त अवधि में यू-डाईस का कार्य शत-प्रतिशत पूर्ण नहीं किया जाता है तो उनकी मान्यता समाप्त करने की कार्यवाही की जाएगी। इसके अतिरिक्त जिला परियोजना समन्वयक, भोपाल द्वारा संबंधित जन शिक्षकों को भी कारण बताओं सूचना पत्र जारी कर उनसे प्रति उत्तर चाहा गया है, कि क्यों न उनकी दो वेतनवृद्धि असंचयी प्रभाव से रोकी जाए ।