- आग्रहव्रत अभियान के चार दिवसीय प्राथमिक वर्ग में देश के कोने कोने से 129 से अधिक व्रती शामिल हुए।
बिलासपुर, 3 अक्तूबर । campussamachar.com, आग्रहव्रत अभियान के चार दिवसीय प्राथमिक वर्ग में देश के कोने कोने से 129 से अधिक व्रती शामिल हुए। देश के जाने माने हिंदुत्व वादी चिंतक व शोधकर्ता सुनील अग्रवाल ने महात्मा गांधीजी व लालबहादुर शास्त्रीजी की जन्मजयंती से शुरू वर्ग में तथ्यपरक विवरण देते हुए बताया कि हमें भारतीय होने पर गर्व की अनुभूति क्यों होती हैं। लोकतांत्रिक व्यवस्था, नारी का सम्मान, सह अस्तित्व, दूसरी उपासना पध्दति का सम्मान, तर्क आधारित विवेकपूर्ण निर्णय लेने की स्वतंत्रता, सुधारवादी, प्रगतिशील समाज, समानता का अधिकार, बोलने की स्वतंत्रता, धर्मग्रंथों व ईश्वर पर चर्चा करने का अधिकार आदि अनेको सद्गुण केवल हिंदुत्व में ही पाए जाते है।
bilaspur news : उन्होने कहा कि संस्कृत में नदी को सिंधु कहते है। भारत में बारहमासी नदियों का जाल होने से इसे सिन्धुओं का स्थान अर्थात सिंधुस्थान कहा जाता रहा होगा। भाषा मुख-सुख खोजती हैं। जैसे सप्ताह का हप्ता हुआ। वैसे ही सिंधुस्थान से हिंदुस्तान हुआ। अतः हिंदुस्तान में निवासरत समस्त नागरिक हिंदू कहलाये जाते हैं। धर्म का अर्थ किसी भी पूजा पध्दति अथवा कर्मकांड से नहीं होता हैं। अपितु कर्तव्यों का पालन करते हुए प्यासे को पानी पिलाना, माता-पिता की सेवा करना, गिरते को सहारा देना नैतिक धर्म हैं। देश की रक्षा करना सैनिक का धर्म हैं। पुत्र-पुत्री, भाई-बहन, माता-पिता के रूप में एक ही व्यक्ति के अलग अलग धर्म होते हैं।
bilaspur latest news : उन्होने बताया कि इससे स्पष्ट होता हैं कि भारत के प्रत्येक भारतवासी हिंदू हैं। लेकिन जिनकी करणीय व अकरणीय की कसौटी भारत माता के प्रति होती हैं तथा उनके आस्था का केंद्रबिंदु देश मे रहता हैं। केवल उनमे ही हिंदुत्व का भाव होता हैं। हिंदुत्व की प्रत्येक विधि व्यवस्था वर्तमान वैज्ञानिक कसौटियों पर खरी उतरती हैं। हमारे पूर्वज इतने ज्ञानी थे कि उस समय बिना किसी आधुनिक साधनों के ग्रहों की सटीक काल गणना की थी।
bilaspur news : उस समय की वास्तुकला, मंदिर, भवन निर्माण को देखकर आज के आधुनिक वास्तुकार भी दाँतो तले अंगुली दबा लेते हैं। किचन में मसालों का प्रयोग, नीचे आलती पालती में बैठ कर हाथों से भोजन करना भी शरीर को आवश्यकतानुसार प्रोटीन, न्यूट्रिनों की उपलब्धता करवाना है। दिनों के नाम, महीनों के नाम, ऋतुओं के पीछे भी सटीक कारण हैं।
bilaspur news today : 1 जनवरी के बजाय वर्ष प्रतिपदा पर नववर्ष का शुभारंम्भ भी विज्ञान सम्मत हैं। भाषा में लघुप्राण, दीर्घप्राण,अनुप्राश का क्रमशः कंठ, तालु, जीभ, दांत से स्पर्श कर देवनागरी लिपि का निर्माण किये हैं। अस्पर्शयता के कारणों पर विस्तृत चर्चा करते हुए, उन्होंने बताया कि वैदिक काल मे पेशे या व्यवसाय के आधार पर आबादी ब्राह्मण, क्षत्रिय व वैश्य तीन वर्गो में विभाजित की जाती थी। जिसमें समय समय पर एक वर्ण से दूसरे वर्ण में जाने की स्वतंत्रता होती थी। यदि किसी कार्यवश उपरोक्त तीनों ही वर्णों से पृथक होकर सेवा कार्य करता था तो उसे सँख्या के आधार पर क्षुद्र वर्ग कहां जाता था। जो कालांतर में शुद्र कहां जाने लगा। वर्ण व्यवस्था पेशेगत होने के कारण उनकी ज्ञाति बनी। भाषा मुखसुख खोजती हैं। इसे जाति फिर कास्ट के रूप में समझा जाने लगा।
campus news : पहली बार 712 मे मोहम्मद बिन कासिम ने अंतिम हिंदू राजा दाहिर के पराजित होने से भारत मे इस्लाम का प्रादुर्भाव हुआ। इस्लाम शासकों ने अपने राज्य की मजबूती तथा धर्म के विस्तार हेतु हिंदुओ को मजबूर किया गया। कुछ धनाढ्य वर्ग राज्य के कृपापात्र बनने, कुछ सैनिक विश्वासपात्र बनने के लालच में विधर्मी बने। कुछ वीर बहादुरों ने ना ही धर्म परिवर्तित करना स्वीकार किया और ना ही उनकी चाकरी। ऐसे बहादुरों को समाज से पृथक करने हेतु बादशाहों ने उन्हें मैला ढोने हेतु बाध्य किया। कालांतर में ये बहादुर बस्तियों के बाहर मैला ढोने व सुअर पालन कर अपनी आजीविका चलाने को मजबूर होने के कारण छुआछूत के शिकार हुए।
cg news in hindi : आग्रह व्रत अभियान का एकमात्र उद्देश्य हिंदुओ को उनके वैभवशाली इतिहास से परिचित करवाते हुए, देश मे हिंदू हिंदू में भेदभाव समाप्त कर समरस समाज का निर्माण करना है। चार दिवसीय आध्यात्मिक वर्ग में आज सभी ने बाबा बैद्यनाथ ज्योतिर्लिंग एवं शक्ति पीठ के दर्शन लाभ लिए।
chhattisgarh news : चार दिवसीय तीर्थाटन सह प्राथमिक वर्ग में सर्वश्री सुनील अग्रवाल, त्रिभुवन पांडेय, ललित अग्रवाल, श्याम सुंदर, विनोद कुमार, डॉ राजेश साहू, मयंक मिश्रा, अरविंद द्विवेदी, शिल्पी द्विवेदी, अरुण पंडित, पुष्पेश कुमार , मुकेश अग्रवाल, हर्षित रस्तोगी, पी राजमणि, प्रशांत कुमार, रेशु, धर्मेंद्र सहित सैकड़ों की तादात में आग्रहव्रति देश के कोने कोने से शामिल हुए।